हर नागरिक को जीवन रक्षक तकनीक सीखना जरूरी: डॉ. दिलशाद

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एक मिनट में 120 बार चेस्ट कंप्रेशन है जरूरी, रोटरी क्लब ने सिखाए सीपीआर के गुर                                      बक्सर खबर। अचानक हार्ट अटैक या सांस रुकने की स्थिति में सही समय पर दिया गया सीपीआर किसी की जान बचा सकता है। इसी संदेश को आम लोगों तक पहुंचाने के उद्देश्य से रोटरी क्लब द्वारा शुक्रवार को शहर के चीनी मिल मोहल्ला स्थित साबित खिदमत अस्पताल में सीपीआर ट्रेनिंग सह स्वास्थ्य जागरूकता अभियान का आयोजन किया गया। रोटरी क्लब के पीपी एच कैंपस कार्यक्रम के तहत यह ट्रेनिंग लगातार जिले के विभिन्न स्थानों पर कराई जा रही है, ताकि ज्यादा से ज्यादा लोग इस जीवन रक्षक तकनीक को सीख सकें। कार्यक्रम की अध्यक्षता करते हुए रोटरी अध्यक्ष डॉ. दिलशाद आलम ने कहा कि सीपीआर की जानकारी केवल डॉक्टरों तक सीमित नहीं रहनी चाहिए, बल्कि हर सिविल सोसाइटी के व्यक्ति को इसे जानना चाहिए।

उन्होंने बताया कि रोटरी क्लब स्कूलों, कॉलेजों और अस्पतालों में इस अभियान को चला रहा है और आगे भी इसे और व्यापक रूप दिया जाएगा। डॉ. दिलशाद ने सीपीआर की तकनीक को सरल शब्दों में समझाते हुए बताया कि इमरजेंसी स्थिति में एक मिनट में लगभग 100 से 120 चेस्ट कंप्रेशन देने चाहिए, यानी एक सेकंड में करीब दो कंप्रेशन। हर 30 कंप्रेशन के बाद दो बार मुंह से सांस देना जरूरी है और साथ ही तुरंत अस्पताल या इमरजेंसी सेवा को कॉल करना चाहिए। यह रोटरी क्लब की तीसरी सीपीआर ट्रेनिंग थी। इससे पहले आचार्य नरेंद्र देव स्कूल में कार्यक्रम हो चुका है, जबकि अगले चरण में इसे जिले के अन्य स्कूलों में भी आयोजित किया जाएगा। इस मौके पर ओमप्रकाश, घघरी देवी, शिल्पी कुमारी, रानी देवी, अमृता कुमारी, तरन्नुम परवीन, प्रमोद कुमार, कौशल किशोर, मंगला राय, रोटरी सचिव एस.एम. साहिल, सदस्य रियासत अंसारी, राहुल समेत अस्पताल के कई कर्मी मौजूद रहे।

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